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देश की जनता अपराधियों के साथ खड़ी है

✍✍✍"देश की जनता अपराधियों के साथ खड़ी है और सपने देख रहे हैं अमन चैन के। यह कैसे संभव है"
 ✍✍✍ साथियों दो दिन से सोशल मीडिया पर लोगो की भावना पढ़ रहा था एक जाति अपने महापुरुषों से भी बड़ा आनन्दपाल को मान कर उसको महिमा मंडित करने में लगी है तो दुसरी जाति ऐसे खुशियां मना रही है जैसे भगतसिंह को फांसी देने वाले से बदला ले लिया था।
✍✍✍ अपराधियों की चर्चा ही बंद कर देनी चाहिये जबकि इस देश में तो हर कोई अपराधियों को भगवान बनाने में लगा है।देश के लिये शहादत देने वाले शहीदों के अंतिम संस्कार में हजारों की संख्या में लोग शामिल होते हैं और देश के लिये नासुर बने आतंकवादी,अपराधियो के जनाजे में लाखों लोग शामिल होते हैं।
✍✍✍ शहीद खुमाराम व् फैज मोहम्मद ने आम जनता की रक्षा के लिये शहादत दी। उनके भी माँ थी,बहन थी,बाप था,भाई थे वो भी इसी तरह रोये थे जब वो शहीद हुये तब कोई उनके आंसूं पोंछने नहीं आया था।उनके अंतिम संस्कार में भी कोई ज्यादा संख्या भी नहीं थी लेकिन जिस अपराधी ने उन्हें मारा उनके अंतिम संस्कार के लिये प्रदेश ऐसे उमड़ पड़ा जैसे कोई देश के लिये बहुत से आतंकवादियों का सफाया करके शहीद हुआ हो।
✍✍✍ मिडिया भी दो दिन से बकवास कर रहा है की आनन्दपाल यह खाता था,यह पीता था,इसकी मां ने यह कहा, उसकी बेटी ने यह कहा, औरत बिलख रही है।क्या मिडिया ने कभी यह दिखाया खुमाराम क्या खाता था,फैज मोहम्मद क्या खाता था। इन शहीदों की माँ,बहन,बेटी,पिता,भाई व् औरत किस तरह बिलख बिलख कर रोये थे।
 ✍✍✍ आज राजपूत समाज को आनन्दपाल अपना भाई नजर आ रहा है जब आनन्दपाल की शादी हुई तब सांवलाद् के राजपूतों ने उसे घोड़ी पर बनोली नहीं निकालने दी। उस समय आपके भाई नहीं लगता था। आनन्दपाल ने तीन राजपूतों को मारा क्या वो आप के भाई नहीं थे। सोहनसिंह तंवर आनन्दपाल की गोली का शिकार हुआ वो एस एम एस अस्पताल जयपुर में जिंदगी और मौत के बीच लड़ाई लड़ रहा है क्या वो राजपूतों का भाई नहीं है ?
 ✍✍✍ बन्द करो अपराध के सहारे राजनीती करना,बन्द करो दो जातियों को आपस में लड़ाकर राजनीती करना। राजनीती करनी है तो जनता की भलाई करके अपनी पहचान बनाओ और राजनीती करो।
✍✍✍ राजस्थान में नेता बनने का ट्रेड चल पड़ा है की जाट राजपूतों को गालियां निकाले व् राजपूत जाटों को गालियां निकाले। बस आप सफल नेता बन जाओगे। इस ट्रेड को बदलो।
✍✍✍ सोसल मिडिया पर कुछ चवन्ने जाट समाज को गालियां निकाल कर सस्ती लोकप्रियता बटोर रहे हैं तो कुछ राजपूत समाज को गालियां निकालकर नेता बनना चाहते हैं।अच्छे लोगों ने चुपी साध ली इसलिये दोनों ही समाज गुंडों की गिरफ्त में आ गये।
✍✍✍   लेकिन इस तरह से किसी दुसरे समाज को गालियां निकालकर नहीं।काम करके आगे बढ़ाना चाहता हूँ समाज में जहर घोलकर नहीं।
✍✍✍ जाट समाज के युवाओ से मेरी अपील है कि आनन्दपाल ने जैसे कर्म किये वैसा फल उसे मिल गया इस पर हमें किसी प्रकार की टिप्पणी नहीं करनी है।कोई कितना भी बड़ा अपराधी हो,चाहे आपका दुश्मन हो उसकी लाश का अपमान करना,लाश पर जश्न मनाना मानवता के खिलाफ है।आतंकवादियों की लाशों का भी अपमान नहीं करते हैं।जो राजपूत समाज के अच्छे लोग है वो भी अपराधियो के साथ नहीं है और चवँनो के उकसाने पर उन्हें सभ्य भाषा में जबाब दें पुरे राजपूत समाज को निशाना बनाकर कोई भी जबाब ने दें।
✍✍✍ जाटों व् राजपूतों को गालियां निकालने वाले चव्वनो से कोई नहीं डरता है।इनकी औकात सिर्फ इतनी है कि किसी बहन बेटी को जलील कर सके,किसी गरीब के ऊपर अत्याचार कर सके। जो इनके बाप है उनके आगे यह भी पालतू कुत्ते की तरह दुम हिलाते हैं इसलिये गालियें निकालने वालो को हीरो न समझे। असली हीरो तो वह लोग है जो समाज व् देश को मजबूत करने में आम आदमी की मदद करे। बहन बेटी की इज्जत करें और असहाय की सहायता करें।
 ✍✍✍ राजपूत व् जाट समाज के अच्छे लोग आगे आयें और इन चवँनो के चंगुल से दोनों समाजो को बाहर निकाले।ऐसे लोग समाज के युवाओ को अपराध के लिये प्रेरित कर रहे है जो किसी भी सूरत में सही नहीं है।समाज को आगे बढ़ाने के अच्छे तरीके बहुत है उस ओर ध्यान दे।
अन्त में देश व् समाज की रक्षा करते हुये घायल हुये सोहनसिंह के जल्द स्वास्थ्य होने की कामना करते हुये इस ऑपरेशन को सफल बनाने वाली पुरी पुलिस टीम का आभार प्रकट करते हुऐ धन्यवाद देता हूँ व् सरकार से मांग करता हूँ की सोहनसिंह को सर्वोच्च पुलिस सम्मान से सम्मानित करें व् पुलिस टीम को भी सफल आप्रेशन के लिये सम्मानित करें।

✍ मेरी इस पोस्ट का उद्देश्य राजस्थान में शांति बनाये रखना है।किसी को बुरा लगा हो तो उस बुराई से हमे अवगत करायें उस बुराई को भी हम खत्म करने का प्रयास करेंगे।धन्यवाद।

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